गंगा : डॉ.उमाशंकर चतुर्वेदी 'कंचन'
गंगा
बुधवार, 5 जनवरी 2011
भूमा औ भूमिका भोगवती,
उद्धारिणी अत्ता प्रणाम है गंगा ।
उस्रा वसुंधरा तग्या वितन्वी,
महा गुणवत्ता प्रणाम है गंगा ।
भद्रा हिमाद्रिजा हंसपदी ,
जननी सुरसत्ता प्रणाम है गंगा ।
तू मिषती घृतधारा मधुस्रवा,
पृश्नी अभिद्धा प्रणाम है
गंगा
।।
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